कनाडा में एक 16 साल की लड़की के साथ बलात्कार और उसकी हत्या के मामले का मुकदमा 48 साल के बाद निपटा है। मांट्रियल में हुई इस घटना से जुड़े सभी तथ्य तब सामने आए जब संदिग्ध आरोपी का शव कब्र से बाहर निकाला गया और उसका डीएनए टेस्ट कराया गया।
दरसअल 1975 में 16 साल की शैरन प्रियर अपने दोस्तों से एक पिज्जा पार्लर में मिलने के बाद अचानक लापता हो गई थी और खोजबीन कर बाद आखिरकार उसका शव तीन दिन बाद नजदीक के जंगल में मिला था। उस समय मामले का संदिग्ध अमेरिका के नागरिक फ्रैंकलिन रोमीन को माना गया। घटना के समय वह मांट्रियल में मौजूद था और लंबा आपराधिक रिकार्ड था। इतना ही नही मांट्रियल और वेस्ट वर्जीनिया में कई बार सुरक्षा बलों के साथ उसकी मुठभेड़ भी हो चुकी थी।
हालंकि दुष्कर्म के एक मामले में वह दोषी भी साबित हुआ था लेकिन शैरन की हत्या के मामले में वह शक के दायरे में आने से बच गया था। फ्रैंकलिन 36 साल की उम्र में 1982 में मर गया था। मामले की जांच में सामने आया कि जंगल में जिस स्थान पर शव मिला था उसके नजदीक जिस कार के टायरों के निशान मिले थे वे फ्रैंकलिन की कार के टायरों के निशानों से मेल खा रहे थे।
लेकिन पुख्ता सुबूतों के अभाव में पुलिस किसी को भी मामले का दोषी नहीं ठहरा सकी थी। यहां तक कि घटना के बाद शव से डीएनए के जो नमूने लिए गए थे, उनसे भी किसी नतीजे पर नहीं पहुँच सकी थी।
हालांकि उन नमूनों को दशकों तक सुरक्षित रखा गया। 2019 में मांट्रियल पुलिस ने डीएनए के वे नमूने अमेरिका की वेस्ट वर्जीनिया पुलिस के पास भेजे और उनका फ्रैंकलिन के रिश्तेदारों से मैच कराया गया।
डीएनए रिपोर्ट से पता चला कि शैरन के शव से मिले डीएनए के नमूने फ्रैंकलिन के रिश्तेदारों के डीएनए से मेल खाते है। इस रिपोर्ट के बाद शैरन की दुष्कर्म के बाद हत्या के मामले पर पड़ा पर्दा हट गया।