दिल्ली की एक अदालत ने सोमवार को पित्ताशय की पथरी को हटाने के लिए सर्जरी कराने के लिए नीरज बवाना के पिता को एक महीने की अंतरिम जमानत दे दी है। वह आर्म्स एक्ट के तहत पुलिस स्टेशन बवाना में दर्ज एफआईआर के संबंध में न्यायिक हिरासत में है।
रोहिणी कोर्ट के मेट्रोपॉलिटन मजिस्ट्रेट सौरभ गोयल ने प्रेम चंद को पथरी हटाने की सर्जरी कराने के लिए 30 दिनों की अंतरिम जमानत दी है।
उन्हें 20,000 रुपये का जमानत बांड और इतनी ही राशि की जमानत राशि भरने के बाद जमानत दे दी गई है। उन्हें अंतरिम जमानत अवधि समाप्त होने के बाद जेल अधिकारियों के समक्ष आत्मसमर्पण करने का निर्देश दिया गया है।
अदालत ने मेडिकल आधार पर जेल अधिकारियों द्वारा दायर स्थिति रिपोर्ट पर विचार करने के बाद आरोपी को राहत दी। रिपोर्ट में कहा गया है कि जेल अधिकारियों ने खुद दीन दयाल उपाध्याय अस्पताल को आरोपी की सर्जरी के लिए लिखा है लेकिन उसकी जांच अस्पताल में लंबित है।
प्रेम चंद ने पित्ताशय से पथरी निकालने के लिए सर्जरी कराने और सर्जरी के बाद देखभाल के लिए अंतरिम जमानत की मांग करते हुए एक आवेदन दायर किया था।
आरोपी के वकील प्रवेश डबास ने कहा कि वह गंभीर दर्द में है और उसकी हालत दिन-ब-दिन बिगड़ती जा रही है।
उनके खिलाफ बवाना पुलिस स्टेशन में 2022 में आर्म्स एक्ट और मोटर व्हीकल एक्ट की धाराओं के तहत एफआईआर दर्ज की गई है।