मध्य प्रदेश के शहडोल में जिला न्यायालय के सत्र न्यायाधीश वी पी सिंह ने पति की हत्या कर उसके शव को बगीचे में दफ़नाने वाली पत्नी को दोषी करार देते हुए उम्र कैद की सजा सुनाई है। 2019 में पत्नी ने पति की हत्या कर दी थी।
अदालत ने गोंड निवासी दुर्गा बाई को पति की हत्या का दोषी माना और आजीवन कारावास की सजा सुनाई है।
दरसअल, कोर्ट द्वारा दोषी करार दी गई दुर्गा बाई का पति लखन सिंह शराब पीने का आदी था। शराब की वजह से अक्सर दोनों में वाद विवाद होता रहता था। लखन सिंह शराब पीने के बाद दुर्गा को पीटता भी था। घटना के दिन भी लखन ने शराब के नशे में दुर्गा के साथ झगड़ा कर उसे पीटने लगा। इससे गुस्से में आकर दुर्गा ने पति के सिर पर डंडा मार दिया जिसके बाद लखन सिंह गिर पड़ा और उसके सिर से खून निकलने लगा।
इसके भी जब दुर्गा का गुस्सा कम नहीं हुआ तो दुर्गा ने अपने पति लखन का गला दबाकर उसे मार डाला। फिर लाश को घसीटकर घर के बगीचे में ले गई और वहाँ गड्ढा खोदकर गाड़ दिया। हत्या के 15 दिन बाद जब रक्षा बंधन का त्योहार आया तो मृतक लखन की बहन फूलबाई सिंह अपने भाई को राखी बांधने आई।
लखन सिंह के न मिलने पर उसने अपनी भाभी दुर्गा बाई से पूछा तो उसने कहा कि लखन को उसने मार दिया है और उसकी लाश घर के पीछे बगिया में गाड़ दी है।
जिसके बाद लखन की बहन फूलबाई सिंह ने घटना की सूचना थाना कोतवाली शहडोल में दी। पुलिस ने दुर्गा बाई की निशानदेही पर लाश को निकलवाया गया। जांच के बाद दुर्गा बाई को गिरफ्तार कर,कोर्ट में चार्जशीट दाखिल की गई और मामले की सुनवाई शुरू हुई थी।