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गैंगस्टर जीवा के हत्या आरोपी को कोर्ट ने 3 दिन की पुलिस रिमांड में भेजा

Jiva Murder

लखनऊ की एक अदालत ने गैंगस्टर जीवा हत्याकांड के आरोपी को वजीरगंज पुलिस की तीन दिन की रिमांड पर भेज दिया।
हालांकि पुलिस ने कोर्ट से पांच दिन की रिमांड मांगी थी मगर मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट हरिकेश पांडे ने 15 जून सुबह 10:00 बजे से शाम 5:00 बजे, 17 जून को रिमांड मंजूर की।
गैंगस्टर संजीव माहेश्वरी उर्फ जीवा की हत्या के आरोप में 25 वर्षीय विजय यादव उर्फ आनंद यादव को गिरफ्तार किया गया है।
पिछले बुधवार को लखनऊ में अदालत परिसर में संजीव माहेश्वरी पर गोली चलाने के तुरंत बाद विजय यादव को गिरफ्तार कर लिया गया था। माहेश्वरी की मौके पर ही मौत हो गई।
हत्या की जांच के लिए यूपी पुलिस द्वारा गठित विशेष जांच दल (एसआईटी) के सूत्रों ने कहा कि पूछताछ के दौरान हमलावर विजय यादव ने कहा कि उसे महेश्वरी को मारने के लिए एक असलम से पैसे की पेशकश की गई थी, जिससे वह हाल ही में नेपाल में मिला था। यादव ने दावा किया कि असलम का भाई आतिफ, जो लखनऊ जेल में बंद है, महेश्वरी द्वारा “प्रताड़ित” किया गया था।

“विजय के अनुसार, असलम ने उसे बताया कि संजीव माहेश्वरी जेल में उसके भाई आतिफ को परेशान कर रहा था और उसने एक बार उसकी दाढ़ी खींच ली थी। विजय यादव ने पुलिस को यह भी बताया कि असलम ने उसे 20 लाख रुपये देने की पेशकश की, अगर वह संजीव माहेश्वरी को खत्म कर देता है,” मामले में शामिल एक अधिकारी जांच ने कहा।
यादव द्वारा बताई गई जानकारी के आधार पर एसआईटी अब आतिफ और असलम का ब्योरा जुटा रही है।
गैंगस्टर मुख्तार अंसारी के करीबी सहयोगी संजीव माहेश्वरी उर्फ जीवा को 7 जून को लखनऊ सिविल कोर्ट में गोली मार दी गई थी। अधिकारियों ने बाद में बताया कि जीवा ने दम तोड़ दिया था।
जीवा पर 1997 में भाजपा नेता ब्रह्म दत्त द्विवेदी की हत्या का आरोप लगाया गया था और मामले की सुनवाई के लिए उसे अदालत में लाया गया था। वह कई कुख्यात गिरोहों में शामिल था और लगभग तीन दशकों तक कई आपराधिक गतिविधियों को अंजाम देता रहा। बाद में, वह गैंगस्टर से नेता बने मुख्तार अंसारी का सक्रिय सदस्य था।
पता चला कि हमलावर वकील का भेष धारण कर कोर्ट कैंपस में घुसा था। उत्तर प्रदेश पुलिस ने यादव के खिलाफ भारतीय दंड संहिता (आईपीसी) की धारा 302 और 307 के तहत मामला दर्ज किया था।

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About the Author: Ashish Sinha

-Ashish Kumar Sinha -Editor Legally Speaking -Ram Nath Goenka awardee - 14 Years of Experience in Media - Covering Courts Since 2008

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