दिल्ली पुलिस ने शुक्रवार को राउज एवेन्यू कोर्ट को सूचित किया कि भारतीय कुश्ती महासंघ (डब्ल्यूएफआई) के प्रमुख बृज भूषण सिंह के खिलाफ दायर यौन उत्पीड़न मामले की जांच के लिए एक विशेष जांच दल (एसआईटी) का गठन किया गया है।
लोक अभियोजक अतुल श्रीवास्तव ने दिल्ली कोर्ट के अतिरिक्त मुख्य मेट्रोपोलिटन मजिस्ट्रेट हरजीत सिंह जसपाल को बताया कि इस मामले में सीलबंद लिफाफे में स्थिति रिपोर्ट दाखिल की गई है।
हालांकि, श्रीवास्तव ने आग्रह किया कि मामला यौन उत्पीड़न से संबंधित है, इसलिए स्टेटस रिपोर्ट किसी के साथ साझा नहीं की जानी चाहिए।
अभियोजन पक्ष ने अदालत को यह भी बताया गया कि सीआरपीसी की धारा 164 के तहत संबंधित मजिस्ट्रेट के समक्ष पीड़ितों में से एक का बयान आज दर्ज किया जाएगा। इतना सुनने के बाद कोर्ट ने कहा कि मामले की अगली सुनवाई अब 27 मई, को होगी।
अदालत इस मामले की अदालत की निगरानी में जांच की मांग करने वाली महिला पहलवानों की याचिका पर सुनवाई कर रही थी। इस हफ्ते की शुरुआत में, न्यायाधीश ने दिल्ली पुलिस को मामले में की गई कार्रवाई पर एक रिपोर्ट प्रस्तुत करने का आदेश दिया। पहलवानों की ओर से अधिवक्ता अनिंद्य मल्होत्रा और शौर्य लांबा पेश हुए।
दिल्ली पुलिस ने बृजभूषण सिंह के खिलाफ कनॉट प्लेस थाने में दो प्राथमिकी दर्ज की हैं। एक प्राथमिकी भारतीय दंड संहिता, 1860 के तहत विभिन्न अपराधों के लिए दर्ज की गई थी, जबकि दूसरी POCSO अधिनियम के तहत दर्ज की गई थी।
नाबालिग पहलवान के यौन उत्पीड़न के आरोप में पॉक्सो एक्ट के तहत प्राथमिकी दर्ज की गयी है। दूसरी प्राथमिकी अन्य महिला पहलवानों द्वारा की गई शिकायतों पर आधारित है।