सुप्रीम कोर्ट ने शुक्रवार को दिल्ली हाईकोर्ट के उस आदेश में संशोधन किया, जिसमें वायएसआरसीपी के सांसद मगुनता श्रीनिवासुलु के बेटे मगुंटा राघव रेड्डी को 15 दिन की अंतरिम जमानत दी गई थी लेकिन अब उसे घटाकर 12 जून तक कर दिया गया है।
जस्टिस अनिरुद्ध बोस और जस्टिस राजेश बिंदल की अवकाशकालीन पीठ ने रेड्डी को दी गई जमानत को तो रद्द नहीं किया, लेकिन उन्हें 12 जून 2023 को आत्मसमर्पण करने के लिए कहा है। आदेश को संशोधित करने के पीछे पीठ का विचार था कि नानी की देखभाल के लिए रेड्डी को रिहा किया गया था। अब उनकी देखभाल के लिए अन्य लोग मौजूद हैं तो रेड्डी को अब रेड्डी को जल्द समर्पण करना होगा।
ईडी ने दिल्ली हाईकोर्ट के आदेश के खिलाफ अपील दायर की थी। ईडी ने दिल्ली शराब नीति घोटाले के संबंध में फरवरी 2023 में रेड्डी को गिरफ्तार किया था। सुनवाई के दौरान ईडी की ओर से पेश अतिरिक्त सॉलिसिटर जनरल एसवी राजू ने तर्क दिया कि अंतरिम जमानत रेड्डी की ओर से जेल से बाहर रहने की एक चाल थी क्योंकि उनकी नियमित जमानत को एक विशेष अदालत ने पहले ही खारिज कर दिया था। अंतरिम जमानत के लिए यह उनका दूसरा प्रयास था।
पहले उन्होंने अपनी पत्नी की बीमारी कारण बताया था, वह भी विफल हो गया था क्योंकि जैसे ही हाईकोर्ट ने मामले में मूल्यांकन का आदेश दिया, रेड्डी ने अपनी जमानत अर्जी वापस ले ली। उन्होंने कहा, अब उन्होंने नानी के लिए अर्जी दी है। बीमारी भी क्या, वह गिर गई है। यह गंभीर नहीं है। उनकी देखभाल करने के लिए लोग हैं। वहीं, रेड्डी के वकील ने सरकारी वकील की दलीलों का विरोध किया। एएसजी राजू ने कहा कि हाईकोर्ट में मामले को गलत तरीके से पेश किया जा रहा है।
विशेष अदालत ने दिल्ली शराब घोटाले से जुड़े भ्रष्टाचार और धन शोधन मामले में आरोपी कारोबारी अमनदीप सिंह ढल की जमानत याचिका खारिज कर दी। विशेष जज एमके नागपाल ने कहा कि मामले में ढल की भूमिका गंभीर और संगीन है। ब्रिंडको सेल्स का निदेशक ढल आबकारी नीति तैयार करने में सक्रिय रूप से शामिल रहा है।